राजधानी भोपाल समेत मध्य प्रदेश के कई जिलों में भारी बारिश का कहर, नदियां खतरे के निशान से ऊपर, तवा डैम के गेट खोलने पड़े। मौसम विभाग ने आने वाले 48 घंटों तक भारी बारिश की चेतावनी दी है।
Buland Soch News डेस्क | 29 जुलाई 2025, मंगलवार
मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में बीते 24 घंटों में 15 साल की सबसे अधिक बारिश दर्ज की गई है। लगातार हो रही मूसलाधार बारिश से राज्य के 10 जिलों में रेड अलर्ट घोषित कर दिया गया है। नर्मदा, बेतवा और तवा जैसी प्रमुख नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं। जलभराव, ट्रैफिक जाम और बाढ़ जैसे हालात ने आम जनजीवन को पूरी तरह से अस्त-व्यस्त कर दिया है।
● भोपाल में टूटा 15 साल का रिकॉर्ड
भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) के मुताबिक, भोपाल में 24 घंटे में 120 मिमी से अधिक बारिश दर्ज की गई, जो पिछले 15 वर्षों में सबसे अधिक है। TT नगर, न्यू मार्केट, करोंद, भेल और हबीबगंज जैसे इलाकों में घुटनों तक पानी भर गया है। प्रशासन ने स्कूलों में छुट्टी घोषित कर दी है और नगर निगम की टीमें जल निकासी में जुटी हैं।
● 10 जिलों में रेड अलर्ट घोषित
IMD ने राज्य के निम्नलिखित जिलों में रेड अलर्ट जारी किया है:
भोपाल, सीहोर, रायसेन, उज्जैन, विदिशा, राजगढ़, देवास, नीमच, मंदसौर और रतलाम।
इन जिलों में अगले 48 घंटे तक भारी से बहुत भारी बारिश की संभावना जताई गई है।
● तवा डैम के खोले गए गेट, नर्मदा में उफान
होशंगाबाद (नर्मदापुरम) स्थित तवा डैम के गेटों को खोलना पड़ा है, जिससे 2 लाख क्यूसेक से अधिक पानी नर्मदा नदी में छोड़ा गया है। इससे होशंगाबाद, हरदा और बड़वानी जिले के निचले इलाकों में बाढ़ की आशंका जताई जा रही है। प्रशासन ने नदी किनारे बसे गांवों को खाली करने का निर्देश दिया है।
● बालाघाट-छिंदवाड़ा में भूस्खलन का खतरा
बालाघाट और छिंदवाड़ा जिलों में लगातार हो रही बारिश के कारण पहाड़ी इलाकों में भूस्खलन का खतरा बना हुआ है। कुछ ग्रामीण इलाकों में सड़क संपर्क टूटने की भी खबरें हैं।
● राहत कार्य शुरू, SDRF अलर्ट पर
राज्य सरकार ने SDRF और NDRF की टीमों को प्रभावित जिलों में तैनात कर दिया है। बाढ़ प्रभावित गांवों से लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा रहा है। खाद्य सामग्री और पीने के पानी की व्यवस्था के लिए कैंप लगाए जा रहे हैं।